इंद्रा एक्सप्रेस नेटवर्क
पतरही,जौनपुर। धनतेरस को लेकर पतरही बाजार में शनिवार को चहल - पहल देखी गई। लोगों ने अपने सामर्थ्य अनुसार जमकर समानों की खरीददारी की।दिवाली से पहले धनतेरस का दिन काफी अहम होता है।इस दिन खरीदारी को अधिक शुभ माना जाता है।इस दिन का लोग वर्ष भर इंतजार करते हैं ऐसे में हर कोई कुछ न कुछ जरूर खरीदता है।खासकर बर्तनों की खरीदारी जमकर होती है।धनतेरस पर झाड़ू खरीदने की भी परंपरा है झाड़ू को माता लक्ष्मी का प्रतीक माना गया है।मान्यता है कि धनतेरस के दिन झाड़ू खरीदने से घर में सुख- शांति आती है दरिद्रता दूर होती है। हिंदू पंचांग के अनुसार धनतेरस हर वर्ष कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को मनाया जाता है।धनतेरस को धन त्रयोदशी के नाम से भी जाना जाता है।लक्ष्मी-गणेश की मूर्तियों से लेकर बर्तन,इलेक्ट्रॉनिक सामान,ज्वेलरी की लोगों ने की जमकर खरीदारी।बरनवाल आभूषण भण्डार पर चहल - पहल देखी गई ज्वेलरी के साथ लक्ष्मी-गणेश
के चाँदी के सिक्के की खरीददारी की।प्रो.निशांत बरनवाल ने बताया कि पिछले वर्ष के तुलना इस वर्ष सोने चांदी के बढ़ती कीमतों का असर देखने को मिला।ज्यादा लाइट वेट गहनों और सिक्कों का डिमांड रहा।मां चन्द्रिका होंडा इंटरप्राइजेज के प्रो. एवं समाजसेवी मुकेश सिंह "गेंदी" ने बताया कि हमारे यहाँ शनिवार के चलते ग्राहक गाड़ी नहीं ले गए।गाड़ियां दिवाली के लिए बुक कराकर छोड़ दिए।इस वर्ष सेल काफी कम रहा।